Virat Kohli का अंडर-19‌ वर्ल्ड कप से बेस्ट इंडियन क्रिकेटर बनने तक का सफर

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Virat Kohli भारत के एक ऐसे क्रिकेटर हैं जो अपने बेहतर प्रदर्शन के लिए पूरी दुनिया में जाने जाते हैं। उन्होंने बहुत ही कम समय में सफलता की बुलंदियों को छू लिया। उनकी बल्लेबाजी के सामने बड़े-बड़े गेंदबाजों के भी पसीने छूट जाते हैं। उन्होंने इंडियन क्रिकेट टीम के कैप्टन के रूप में टीम को एक नई दिशा प्रदान की। अंडर-19 क्रिकेट टीम में अपने श्रेष्ठ प्रदर्शन के कारण ही उन्हें नेशनल टीम में शामिल किया गया। विराट कोहली एक दिवसीय मैचों में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ियों में प्रथम स्थान पर भी रह चुके हैं।

• विराट कोहली का परिचय :

Virat Kohli भारतीय क्रिकेट टीम के एक राइट हैंडेड बल्लेबाज हैं, जिनका नाम विश्व के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाजों में लिया जाता है। विराट के नाम कई रिकॉर्ड दर्ज हैं। बल्लेबाजी के साथ कोहली गेंदबाजी भी करते हैं। अपनी मेहनत के दम पर ही उन्होंने क्रिकेट जगत में एक अलग पहचान बनाई है। उनका जन्म 5 नवंबर 1988 को पश्चिमी दिल्ली के उत्तमनगर में हुआ। उनके पिता का नाम प्रेम कोहली है, जो पेशे से एक क्रिमिनल लॉयर थे। विराट के पिता का देहांत 19 दिसंबर 2006 को हो गया। उनकी माता का नाम सरोज कोहली है। उनका एक बड़ा भाई है, जिसका नाम विकास कोहली है तथा बड़ी बहन का नाम भावना कोहली है। उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा पश्चिमी दिल्ली स्थित विशाल भारती पब्लिक स्कूल से प्राप्त की। वहां पर 9वीं कक्षा तक पढ़ाई करने के पश्चात उन्होंने दिल्ली के पश्चिम विहार स्थित Saviour Convent Senior Secondary School में एडमिशन लिया यहीं से उन्होंने 12वीं कक्षा तक की पढ़ाई पूरी की। कोहली की उच्चतम शिक्षा हायर सेकंडरी (12 वीं) है।

विराट कोहली ने 11 दिसंबर 2017 को बॉलीवुड अभिनेत्री अनुष्का शर्मा से शादी कर लिया। वर्तमान में उन दोनों की एक बेटी है, जिसका नाम वामिका कोहली है।

• विराट कोहली के क्रिकेट कैरियर की शुरुआत :

Virat Kohli को बचपन से ही क्रिकेट खेलने का बहुत शौक था।  जब वे मात्र तीन साल के थे, तभी से उन्होंने क्रिकेट बैट के साथ खेलना शुरू कर दिया था। वे अपने पिता के साथ भी क्रिकेट खेलने की जिद किया करते थे। जब वे थोड़े बड़े हुए तो अपने दोस्तों के साथ गलियों में क्रिकेट खेलने लगे। उनकी बल्लेबाजी बहुत कमाल की थी। मुहल्ले के लोगों ने जब विराट का प्रदर्शन देखा तो विराट के पिता को उसका एडमिशन किसी अच्छे क्रिकेट एकेडमी में करने के लिए कहा। तब उसके पिता ने 9 वर्ष की आयु में उसका एडमिशन West Delhi Cricket Academy में करा दिया। जहां उसने क्रिकेट कोच राजकुमार शर्मा से प्रोफेशनल क्रिकेट की दीक्षा ली।‌ चूंकि विराट को क्रिकेट में बहुत दिलचस्पी थी, इसलिए जल्द ही उन्होंने इस खेल के मूल दांव-पेंचों को सीख लिया।

2001 में जब अंडर-14 क्रिकेट टीम के लिए खिलाड़ियों का चयन हो रहा था, तब दुर्भाग्यवश विराट का चयन इस टीम में नहीं हो पाया। इससे  विराट को बहुत बुरा लगा, लेकिन उसने अपना खेल जारी रखा। उसने अपने प्रदर्शन में काफी सुधार किया। इस घटना के अगले वर्ष यानि 2002 में विराट के अच्छे प्रदर्शन के कारण उनका चयन अंडर-15 क्रिकेट टीम में हो गया। 2002-03 के Poly Umrigar Trophy में विराट कोहली ने बेहतार प्रदर्शन करते हुए सबसे ज्यादा रन बनाये। उसके खेल को देखते हुए 2004 में उसे टीम का कैप्टन बना दिया गया। इसके बाद दिसंबर 2004 में उसका चयन दिल्ली अंडर-17 क्रिकेट टीम में हुआ। 2004-05 के विजय मर्चेंट ट्रॉफी टूर्नामेंट में दिल्ली अंडर-17 टीम ने विराट कोहली की बदौलत जीत हासिल की। इस टूर्नामेंट में कुल 7 मैच खेले गए, जिसमें विराट ने सबसे ज्यादा 757 रन बनाए। 2006 में उनका चयन अंडर-19 टीम में हुआ। जुलाई 2006 में इंग्लैंड के विरुद्ध खेले गए अंडर-19 मैच में उन्होंने काफी अच्छा प्रदर्शन किया। 23 नवंबर 2006 को उन्होंने घरेलू प्रथम श्रेणी क्रिकेट चैम्पियनशिप रणजी ट्रॉफी से डेब्यू किया। तमिलनाडु के विरूद्ध इस मैच में वे कुछ खास कमाल नहीं दिखा पाए और मात्र 10 रनों पर ही आउट हो गए। 

19 दिसंबर 2006 को उनके पिता का देहांत हो गया। इस दिन भी विराट का मैच था। विराट अपने दिल पर पत्थर रख कर खेल के मैदान में गए और कर्नाटक के विरुद्ध 90 रनों की पारी खेली। खेल के मैदान से लौटकर अपने पिता का अंतिम संस्कार किया। इस घटना ने उनका जीवन ही बदल दिया। इसके बाद विराट क्रिकेट के प्रति बहुत ज्यादा गंभीर हो गए और नेशनल टीम में खेलने के सपने को पूरा करने के लिए जी-जीन लगा दिया। 

3 अप्रैल 2007 को उन्होंने अपना T-20 डेब्यू किया। मुस्ताक अली ट्रॉफी के इस टूर्नामेंट में दिल्ली की तरफ से खेलकर एक अच्छा स्कोर बनाया। इसके बाद 2008 के मलेशिया अंडर-19 क्रिकेट वर्ल्ड कप में कप्तानी करते हुए अपने टीम को जीत दिलाई। इस‌ टूर्नामेंट में 235 रनों की पारी खेलकर सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ियों में वे तीसरे स्थान पर रहे। IPL-2008 में रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर ने उन्हें अपनी टीम में शामिल कर लिया। जून 2008 में उन्हें क्रिकेट आस्ट्रेलिया सेंटर ऑफ एक्सीलेंस में 6 सप्ताह के प्रशिक्षण के लिए भेजा गया। इसी वर्ष इंडिया इमर्जिंग प्लेयर्स टीम की नॉक आउट टूर्नामेंट में विराट का चयन हुआ और उन्होंने काफी बेहतर प्रदर्शन किया। इस टूर्नामेंट के 6 मैचों में उन्होंने 206 रन बनाए। जिसमें न्यूजीलैंड के विरुद्ध 120 रनों का सर्वोच्च स्कोर बिना आउट हुए बनाया। इस टूर्नामेंट के बाद सबका ध्यान विराट की तरफ गया। बीसीसीआई के चीफ सेलेक्टर दिलीप वेंगसरकार विराट के खेल से काफी प्रभावित हुए और उनका चयन एकदिवसीय क्रिकेट मैच के श्रीलंका दौरे के लिए किया। इसी टूर्नामेंट से उन्होंने अपना ओडीआई डेब्यू किया। शुरुआत में वे रिजर्व बल्लेबाज के रूप में टीम का हिस्सा रहे। बाद में अपने बेहतर प्रदर्शन की बदौलत टीम में मध्य क्रम के बल्लेबाज के रुप खुद को स्थापित करने में सफलता पाई। 2011 में वे विश्व कप जीतने वाली टीम का हिस्सा रहे। उन्होंने अपने टेस्ट कैरियर की शुरुआत वर्ष 2011 में की। इसके बाद एकदिवसीय तथा टेस्ट मैचों में बेहतर प्रदर्शन की बदौलत दुनियाभर में लोकप्रियता हासिल की।

• विराट कोहली की क्रिकेट में प्रमुख उपलब्धियां :

• Virat Kohli ने वर्ष 2008 में पहली बार मलेशिया के शहर कुआलालंपुर में आयोजित अंडर-19 विश्व कप क्रिकेट टूर्नामेंट में कप्तानी की तथा टीम को जीत दिलाई।

• 2013 में विराट कोहली पहली बार ओडीआई श्रेणी में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ियों की आईसीसी रैंकिंग में प्रथम स्थान पर पहुंचे। 

• 2014 के आईसीसी T-20 वर्ल्डकप क्रिकेट टूर्नामेंट के फाइनल में उन्होने सबसे ज्यादा 77 रन बनाए। इसलिए उन्हें प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट चुना गया। हालांकि इस मैच में श्रीलंका ने भारत को हरा दिया था। 

• 2015 में उन्होंने T-20 श्रेणी में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ियों की आईसीसी रैंकिंग में प्रथम स्थान प्राप्त किया। उन्होंने लगातार तीन वर्षों, 2014 से 2017 तक इस स्थिति को बरकरार रखा। 

• 2018 में उन्होंने टेस्ट श्रेणी में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ियों की आईसीसी रैंकिंग में प्रथम स्थान प्राप्त किया।

वे T-20 श्रेणी में 10,000 से ज्यादा रन बनाने वाले पहले भारतीय खिलाड़ी बन गए हैं।

• विराट कोहली को प्राप्त प्रमुख पुरस्कार एवं सम्मान :

• एक दिवसीय क्रिकेट में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए 2012 में उन्हें ICC Men's ODI Cricketer Of The Year के पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

• क्रिकेट के खेल में विशिष्ट योगदान के लिए 2013 में उन्हें अर्जुन पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

• खेल के क्षेत्र में विशिष्ट प्रदर्शन के लिए 2017 में उन्हें देश के चौथे सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार पद्मश्री से सम्मानित किया गया।

• वर्ष 2018 उनके के लिए बहुत महत्वपूर्ण एवं यादगार है, क्योंकि इसी वर्ष उन्हें देश का सर्वोच्च खेल पुरस्कार "मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार" प्रदान किया गया।

• वे 2016 से 2018 तक लगातार तीन बार Wisden Leading Cricketer In The World पुरस्कार के विजेता रहे।

• 2019 में  उन्हें Wisden Cricketer Of The Year का पुरस्कार प्रदान किया गया।

 

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